Credit Score: समय पर पेमेंट भुगतान करने पर भी कम हो रहा है क्रेडिट स्कोर, जानिए इसकी कुछ बड़ी वजहें
Cibil Score: पहले के जमाने में हमारे बाप दादा व्यवहार के ऊपर लेनदेन करते थे. लेकिन धीरे-धीरे अब लोग जरूर के हिसाब से बैंकों से लोन लेते हैं. अब बात यहां आती है कि बैंक लोन आपको किस जिम्मेदारी पर देता है. आज इस लेख में हम अंदर की सारी बातों के बारे में जानेंगे.

Credit Score: आज के समय में लोगों को पैसों की जरूरत पूरा करने के लिए बैक से लोन लेते हैं. आज के समय में आपको आपके सिबिल स्कोर पर आसानी से बैंक लोन दे देते हैं. लोन लेने के बाद कई बार आर्थिक स्थिति खराब होने की वजह से आप लोन का पैसा समय पर नहीं चूकाते तो इस वजह से आपके सिबिल स्कोर पर इसका गहरा प्रभाव पड़ता है. लेकिन क्या आपको मालूम है कि लोन समय पर भरने के बावजूद भी कई बार सिविल सिक्योरिटी खराब हो जाता है.
क्रेडिट डिटेल्स ट्रांसयूनियन सिबिल लिमिटेड
भारत में क्रेडिट ब्यूरो सिबिल स्कोर और रिपोर्ट जारी करता है। क्रेडिट ब्यूरो हर भारतीय नागरिक के पैन कार्ड की डिटेल्स रखता है, जिससे वे बैंकों से आपके लिए दिए गए लोन की जानकारी प्राप्त करते रहते हैं। आपका सिबिल स्कोर 300 से 900 के बीच होता है, जो आपके क्रेडिट योग्यता को बताता है। सभी भारतीय नागरिकों के लोन और क्रेडिट डिटेल्स ट्रांसयूनियन सिबिल लिमिटेड के पास होती हैं। लोन समय पर चुकाने के बावजूद, स्कोर गिर सकता है।
आपने भी कई बार क्रेडिट स्कोर के बारे में सुना होगा। आपको पता है कि समय से लोन भरने पर भी ये स्कोर गिर सकता है। अगर बैंक से क्रेडिट ब्यूरो को अपडेट नहीं भेजा जाता है। आप भी इस बात हैरान होने वाले हैं। इसलिए तो आपको क्रेडिट स्कोर का पूरा ABC समझना होगा। क्या है क्रेडिट स्कोर, यह कैसे काम करता है, बैंकों को इसकी जानकारी कब मिलती है? यह सब जानने के बाद आप इसके पीछे की कहानी को समझ जाएंगे।
क्या सिबिल स्कोर हैं?
CIBIL स्कोर का पूरा नाम क्रेडिट इन्फॉर्मेशन स्कोर है। 300 से 900 तक की सीमा है। यानी आपका स्कोर 300 के आसपास होगा तो आप एक बुरा सिबिल होगा। यही कारण है कि 900 के आसपास एक अच्छा सिबिल स्कोर होगा। सिबिल स्कोर का उद्देश्य सिर्फ इतना था कि बैंक लोन देने से पहले आपकी बैंकिंग रिकॉर्ड को देख सकें। सिबिल रिपोर्ट, जिसमें लोन लेने से लेकर उसे चुकाने तक की जानकारी होती है, सिबिल स्कोर के साथ जारी की जाती है। आसान शब्दों में, सिबिल बैंक को सुनिश्चित करता है कि आपको लोन देने के बाद वह कहीं फंस नहीं जाएगा।
सिबिल स्कोर और रिपोर्ट कौन जारी करता है?
भारत में, क्रेडिट ब्यूरो (ट्रांसयूनियन सिबिल लिमिटेड) सिबिल स्कोर और रिपोर्ट जारी करता है। क्रेडिट ब्यूरो हर भारतीय नागरिक के पैन कार्ड की डिटेल्स रखता है, जिससे वे बैंकों से आपके लिए दिए गए लोन की जानकारी प्राप्त करते रहते हैं। मान लीजिए आपने "बैंक A" से 10 हजार रुपये का लोन लिया है। इसलिए बैंक क्रेडिट ब्यूरो को इसकी जानकारी देगा। साथ ही, बैंक ब्यूरो को समय-समय पर इस लोन पर जानकारी दी जाएगी। अब आपने "बैंक B" से 15 हजार रुपये का लोन मांगा। तो बैंक B क्रेडिट ब्यूरो से आपके बारे में जानकारी लेगा, जिससे पता चलेगा कि क्या आप पहले भी लोन ले चुके हैं और उसे समय पर चुका पा रहे हैं या नहीं।
अगर बैंक B को पता चला कि आप पहले बैंक का लोन ठीक से नहीं चुका पा रहे हैं, तो आपको दूसरा लोन देने से मना कर दिया जाएगा, या फिर आपको महंगी ब्याज दर पर दूसरा लोन देने का फैसला किया जाएगा। इसका कारण आपको लोन देने में रिस्क है।
क्रेडिट ब्यूरो को नहीं मिल रही जानकारी
अब आपकी शिकायत पर आते हैं कि आप समय से लोन चुका रहे हैं लेकिन सिबिल गिर रहा है। जैसे, मान लीजिए आप हर महीने लोन चुका रहे हैं, लेकिन आपका बैंक इसकी सूचना क्रेडिट ब्यूरो को नहीं दे पा रहा है. इससे आपकी सिबिल रिपोर्ट अपडेट नहीं हो पाती। इसमें आपकी कोई गलती नहीं है, लेकिन आपको इसका खामियाजा भुगतना पड़ेगा।
बैंक से तुरंत संपर्क करें
इसलिए लोन की किस्त को समय पर चुकाना ही पर्याप्त नहीं है। अगर आपको लगता है कि सिबिल गिरने लगा है यदि रिपोर्ट में कोई बदलाव नहीं है, तो अपने बैंक से तुरंत संपर्क करें। हो सकता है कि जानकारी कुछ टेक्निकल समस्या के कारण आगे नहीं जा पा रही है।